-करनैल सिंह रेलवे स्टेडियम में एक भव्य समारोह में रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव के हाथों जारी
रतलाम/ दिल्ली। रेलवे के सबसे पुराने, एतिहासिक एवं जुझारू संगठन, ऑल इंडिया रेलवेमेन्स फेडरेशन (एआईआरएफ) की स्थापना को इस वर्ष 100 वर्ष पूरे होने के उपलक्ष्य में भारत सरकार के द्वारा एक ‘‘स्मृति डाक टिकट‘‘ जारी करने का निर्णय लिया गया। रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव द्वारा डाक टिकिट जारी किया गया।
मंडल अध्यक्ष नरेंद्र सिंह सोलंकी ने दिल्ली से जानकारी देते हुए बताया कि फेडरेशन की स्थापना 24 अप्रैल 1924 मे हुई थी। इस शताब्दी वर्ष संस्मरण डाक टिकट को रेल, संचार एवं सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री अश्विनी वैष्णव द्वारा 27 फरवरी 2024 को करनैल सिंह रेलवे स्टेडियम में एक भव्य समारोह के अन्तर्गत जारी किया गया। इस मौके पर लगभग 5 हजार से अधिक रेलकर्मी उपस्थित रहे। इस ऐतिहासिक अवसर पर रेल मंत्रालय, भारतीय डाक एवं उत्तर रेलवे के अनेक प्रमुख उच्च अधिकारी भी उपस्थित रहे। इसके साथ ही देश के रेलवे, पोस्टल तथा अन्य सरकारी तथा असंगठित श्रमिक संगठन के शीर्ष पदाधिकारी, अन्य गणमान्य प्रबुद्धजन भी उपस्थित रहे।
यह देश के इतिहास में पहला अवसर है, जब किसी श्रमिक संगठन के नाम से उसके ‘‘शताब्दी वर्ष” में भारत सरकार द्वारा ‘डाक टिकट‘ जारी किया गया। यह इस बात का प्रतीक है कि यह संगठन इस देश एवं श्रमिकों के लिए एक महत्वपूर्ण संगठन है।
एक जिम्मेदार ट्रेड संगठन की भूमिका
इस अवसर पर कर्मचारियों को संबोधित करते हुए मुख्य अतिथि वैष्णव ने इसकी ऐतिहासिक पृष्ठभूमि पर संक्षिप्त प्रकाश डालते कहा कि इस संगठन को ऐसे लोगों ने नेतृत्व प्रदान किया है जिनका इस देश के ट्रेड यूनियन आंदोलन ही नहीं बल्कि अंतरराष्ट्रीय स्तर के ट्रेड यूनियन आदोलन में भी महत्वपूर्ण योगदान रहा हैं। रेलकर्मियों का यह संगठन एक जिम्मेदार ट्रेड संगठन की भूमिका निभाते हुए न केवल रेल कर्मचारियों के सामाजिक एवं आर्थिक उन्नयन के लिए बल्कि रेल उद्योग एवं इसके उपभोक्ताओं के लिए सुरक्षित एवं सुविधाजनक बनाने में अपना महत्वपूर्ण योगदान दिया हैं।
अपने संबोधन में फेडरेशन के महामंत्री शिवगोपाल मिश्रा ने विस्तारपूर्वक जानकारी देते फेडरेशन द्वारा रेल कर्मचारियों एवं उनके परिवार के लिए सामाजिक, आर्थिक एवं सांस्कृतिक क्षेत्र में समय समय पर किए कार्य-कलापों के बारे में बताया। उन्होंने बताया कि सौ साल की यात्रा में रेलवे कर्मचारियों ने फेडरेशन के नेतृत्व में भारतीय रेलो की विकास गाथा लिखी। रूट किलोमीटर 68 किलोमीटर तक पहंचाया और आज 82 वंदेभारत एक्सप्रेस चल रही है। 30 हजार अमृत भारत कोचों का निर्माण हमारे कर्मचारियों द्वारा होने वाला है। वहीं इस फेडरेशन ने संघर्ष और उपलब्धियों के वह आयाम स्थापित किए जिसमें अंग्रेजों के समान वेतन, सुविधायें, छटनी पर रोक, मैन ऑफ़ क्राफ्ट और मैन ऑफ लेटर की बराबरी, बोनस, वेतन आयोगों के माध्यम से वेतन भत्तों एवं सुविधाओं में प्रसार, कैडर रिस्ट्रक्चरिंग के माध्यम से प्रोन्नतियों में विस्तार,सभी को वातानुकूलित पास की सुविधा, चिकित्सा में विस्तार इत्यादि जैसी अनगिनत उपलब्धियाॅ एआईआरएफ के नाम है।
समारोह में एआईआरएफ के अध्यक्ष डॉ. एन कन्हैया, एनएफआईआर के महामंत्री डॉ. एम राघवैया, रेलवे बोर्ड के अध्यक्ष एवं मुख्य कार्यकारी अधिकारी श्रीमती जया वर्मा सिन्हा, महानिदेशक भारतीय डाक सुश्री स्मिता कुमार, रेलवे बोर्ड के महानिदेंषक (एचआर) नवीन गुलाटी, उत्तर रेलवे के महाप्रबंधक शोभुन चौधरी, एआईआरएफ के कार्यकारी अध्यक्ष जेआर भोसले, एआईआरएफ के कोषाध्यक्ष सी एच। शंकराराव, राष्ट्रीय महिला संयोजक श्रीमती प्रवीना सिंह सहित अनेक महत्वपूर्ण पदाधिकारी एवं अधिकारी उपस्थित रहे। समारोह का संचालन एआईआरएफ के सहायक महामंत्री एस के त्यागी ने किया।